मध्य प्रदेश विधानसभा का मानसून सत्र आज से, सरकार को घेरने की पूरी तैयारी में है विपक्ष, परिसर में नारेबाजी पर रोक का मुद्दा भी छाएगा.


भोपाल। मध्यप्रदेश विधानसभा का मनसून सत्र 28 जुलाई से शुरू हो रहा है। इसके पहले ही राजनीतिक बवाल शुरू हो गया है। दरअसल विधानसभा सचिवालय की ओर से सभी मंत्रियों को विधायकों को एक पत्र भेजा गया है, जिसमें विधानसभा परिसर में नारेबाजी पर प्रतिबंध की बात कही गई है। इस आदेश के बाद कांग्रेस ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की थी।
विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर ने रविवार को विधानसभा परिसर का निरीक्षण करते हुए सत्र की व्यवस्थाओं और तैयारियों का जायजा लिया। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि सत्र का संचालन सुचारू और व्यवस्थित रूप से किया जाए। मीडिया से बातचीत में तोमर ने कहा कि विधानसभा परिसर मे कोई नया प्रतिबन्ध नहीं लगाया गया जो विरोध प्रदर्शन पर रोक लगाईं है वो भी कोई नया नहीं है। उन्होंने कहा कि विधानसभा जल्द ही ऑनलाइन होने जा रही है और यह अच्छा संकेत है कि इस बार 2 हजार से ज्यादा सवाल विधायकों ने ऑनलाइन जमा किए हैं। मुझे उम्मीद है कि सभी पक्ष-विपक्ष के सदस्य सकारात्मक रूप से मुद्दों पर चर्चा करेंगे।
परिसर में धरना-प्रदर्शन पर रोक
विधानसभा के मानूसन सत्र में विधानसभा परिसर के अंदर विधायक धरना, प्रदर्शन और नारेबाजी नहीं कर सकेंगे। आमतौर पर विपक्षी पार्टी विरोध जताने के लिए विधानसभा परिसर में नारेबाजी करते थे और धरने पर बैठ जाते थे, लेकिन इस बार इस पर सख्ती से रोक लगाई गई है। विधानसभा अध्यक्ष तोमर के निर्देश पर प्रमुख सचिव ने इस पर रोक लगा दी है।
हेमंत खंडेलवाल की विधानसभा में बदली जगह
मध्य प्रदेश विधानसभा के मानसूत्र सत्र में सत्ता पक्ष की बैठक व्यवस्था बदली गई है। बैतूल से भाजपा विधायक हेमंत खंडेलवाल अब सबसे पहली लाइन में बैठेंगे। अभी तक वे जूनियर विधायकों की लाइन में बैठते आ रहे थे। प्रदेश अध्यक्ष बनाए जाने के बाद अब हेमंत खंडेलवाल को पहली पंक्ति में मंत्रियों के पास वाली सीट निर्धारित की गई है। विधानसभा सचिवालय द्वारा कांग्रेस और भाजपा दोनों को पत्र भेजकर बैठक व्यवस्था में बदलाव करने के संबंध में पूछा गया था। हालांकि कांग्रेस की तरफ से किसी तरह के बदलाव के लिए नहीं कहा गया।
विपक्ष ने सरकार को घेरने बनाई रणनीति
विधानसभा सत्र के दौरान कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दल बिजली संकट, महंगाई, तबादला नीति और किसानों की समस्याओं जैसे मुद्दों को लेकर सरकार को घेरने की तैयारी में हैं। वहीं सत्ता पक्ष ने भी योजनाओं और उपलब्धियों के साथ जवाब देने की रणनीति तैयार कर ली है।
8 अगस्त तक चलेगा सत्र, 10 बैठकें होंगी
28 जुलाई से शुरू होने जा रहा विधानसभा का सत्र 8 अगस्त तक चलेगा। इस सत्र में 10 बैठकें होंगी। सत्र को लेकर विधायकों ने 3377 सवाल लगाए है। इसमें से 1718 तारांकित प्रश्न और 1659 अतारांकित प्रश्न लगाए गए हैं। इसके अलावा 226 ध्यानाकर्षण, 1 स्थगन प्रस्ताव, 23 अशासकीय संकल्प लगाए गए हैं। 3 विधेयक भी सत्र में लाए जाएंगे।